भारतीय सर्वोच्च न्यायालय का मौजूदा मुख्य न्यायाधीश दीपक मिश्रा अब तक के सबसे भ्रष्ट, फ़ासीवादी और सांप्रदायिक मुख्य न्यायाधीशों में से एक है, किसी भी लोकतांत्रिक, सामाजिक व अन्य विषय में इस धूर्त व्यक्ति से न्याय की कोई उम्मीद नहीं रखी जा सकती ! संघ द्वारा एक लंबी कुटिल नीति का प्रयोग करते हुए, वरीयता सूची में एक सुनियोजित जुगाड़ बिठाकर, पीछे के दरवाजे से अपने प्यादों द्वारा इसको इस तरह से सर्वोच्च न्यायालय के मुख्य न्यायधीश के पद पर पहुंचाया कि यह एक लंबे समय तक मुख्य न्यायधीश रहने वाले व्यक्तियों में से एक होगा; और इसके जरिए भगवा मंडल का फिर से सत्ता में आना सुनिश्चित किया जाएगा तथा सरकार द्वारा चलाई जा रही शोषण और संप्रदायिक नीतियों पर भी सर्वोच्च न्यायालय द्वारा किसी भी प्रकार के विरोध को दबाए रखने के लिए भी इसका उपयुक्त उपयोग किया जाएगा ।
by अहं सत्य
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