Monday, August 21, 2017

'गर चूमूँ खुशी जो दी इसने हों ग़मो-शिकन तो परहेज़ कैसा, ये रवानगी ही ज़िंदगी है कंवल सर माथे सब रंग इसके । #कंवल - August 22, 2017 at 06:50AM


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