Saturday, November 28, 2015

Kanwal Speaks - November 29, 2015 at 12:04AM

ख़ोज रहा था ख़बर उसकी क़िरदारकुशी के क़िस्सों की, ये सोच कि शायद कहीं न कहीं कुछ झूठ का गुब्बारा है | किसी ने बस कह कर इतना सब बात खत्म कर दी, कि तमाम वजूद कंवल उसका एक खुला भण्डारा है | #कंवल
by अहं सत्य

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